परिषदीय स्कूलों में मार्च 2011 तक नियुक्त शिक्षक होंगे पदोन्नत
इलाहाबाद : बेसिक शिक्षा परिषद के प्राथमिक स्कूलों में मार्च 2011 तक नियुक्त शिक्षक पदोन्नत होंगे। परिषद ने चार वर्ष अनुभव वाले शिक्षकों को पदोन्नत करने निर्देश दिए हैं लेकिन जिलों में बेसिक शिक्षा अधिकारियों (बीएसए) द्वारा शिक्षकों की पदोन्नति सूची तैयार करने में मनमानी की जा रही है। किसी जिले में 2009 तक नियुक्त शिक्षकों की पदोन्नति सूची तैयार की गई तो कहीं 2010 तक। ऐसे में बीएसए की मनमानी के खिलाफ शिक्षक संगठनों में आक्रोश है। गौरतलब है कि पदोन्नति के लिए आवश्यक पांच वर्ष के अनुभव में सरकार ने एक साल की छूट दी है। ऐसे में चार वर्ष अनुभव वाले शिक्षकों को पदोन्नति दी जानी है। इससे प्रदेश में हजारों शिक्षकों को लाभ मिलने का अनुमान है। बेसिक शिक्षा परिषद के सचिव संजय सिन्हा का कहना है कि जिन जिलों में रिक्तियां उपलब्ध हैं वहां 26 मार्च 2015 तक चार वर्षका शिक्षण कार्य पूरा कर चुके शिक्षकों को पदोन्नत करने के निर्देश दिए गए हैं। इसके तहत प्राथमिक स्कूलों में प्रधानाचार्य या उच्च प्राथमिक स्कूल में सहायक अध्यापक के पद पर 30 अप्रैल तक पदोन्नति प्रक्रिया पूरी करनी है। उधर, शिक्षक संगठनों का आरोप है कि जिलों में पदोन्नति सूची तैयार करने बीएसए द्वारा मनमानी की जा रही है। उत्तर प्रदेश प्राथमिक शिक्षक संघ के प्रदेश अध्यक्ष लल्लन मिश्र ने चेतावनी दी है कि शिक्षकों की पदोन्नति सूची तैयार करने में बीएसए की मनमानी बर्दाश्त नहीं की जाएगी। बीएसए परिषद द्वारा दिए गए आदेश की अनदेखी कर रहे हैं। पदोन्नति सूची तैयार करने में मनमानी को लेकर शिक्षकों में आक्रोश है। शिक्षकों ने 30 अप्रैल तक तय प्रक्रिया के तहत पदोन्नति न मिलने की स्थिति में प्रदेश स्तर पर आंदोलन की चेतावनी दी है।
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