प्रिंसिपल के 925 पदों के साक्षात्कार निरस्त
इंटर कॉलेजों में 925 प्रिंसिपलों की भर्ती के लिए पिछले साल हुए इंटरव्यू निरस्त कर दिए गए हैं। बड़े पैमाने पर धांधली की शिकायतों के बाद माध्यमिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड ने यह निर्णय लिया है। अब नए सिरे से इंटरव्यू होंगे। इनके साक्षात्कार के लिए नई तारीखें घोषित कर फिर से कॉल लेटर भेजे जाएंगे। प्रदेश के एडेड इंटर कॉलेजों में प्रिंसिपल की भर्ती के लिए 2011 में सबसे पहले विज्ञापन जारी किया गया था। उस समय मामला कोर्ट में पहुंच जाने के कारण ये भर्तियां नहीं हो पाई थीं। पिछले साल चयन बोर्ड ने फिर से इसके लिए साक्षात्कार शुरू किए थे। इसमें पुराने आवेदनों के अलावा कुछ नए आवेदन भी मांगे गए थे। इसके लिए करीब 28 हजार आवेदन आए थे। बाद में जैसे ही इंटरव्यू हुए तो इन भर्तियों पर काफी विवाद हुआ। खुद बोर्ड के पदाधिकारियों ने ही तत्कालीन अध्यक्ष डॉ़ आशाराम पर धांधली के आरोप लगाए थे।
विवाद की वहज से हटे थे पुराने अध्यक्ष
प्रिंसिपल भर्ती का विवाद इतना ज्यादा बढ़ा कि बोर्ड के तत्कालीन सचिव और अध्यक्ष सहित कई पदाधिकारियों को पद से हटाया गया। शासन ने इन इंटरव्यू पर तभी रोक के आदेश भी दिए थे। उसके बावजूद अध्यक्ष ने आगरा, सहारनपुर, मीरजापुर, कानपुर, आजमगढ़, लखनऊ, वाराणसी और इलाहाबाद मंडलों के इंटरव्यू करा डाले। उसके बाद अध्यक्ष डॉ़ आशाराम को हटाकर डॉ़ परशुराम पाल को नया अध्यक्ष बनाया गया।
जांच में भी सामने आई थी खामियां :
बाद में शासन स्तर से इसकी जांच भी कराई गई। शासन ने इन भर्तियों में काफी धांधली पाई थीं। इन धांधलियों को एनबीटी ने उजागर किया था। इस पर शासन ने चयन बोर्ड के नए अध्यक्ष से अपनी रिपोर्ट मांगी थी।
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